आषाढ़ी एकादशी के अवसर पर अल्पेश घरे ने निवती के मनोरम समुद्र तट पर केवल रंगोली और रेत (Sand) की सहायता से हाथ की उंगलियों से विट्ठल की 30 फीट आकार की रंगोली बनाई गई है। रंगोली की सहायता से अल्पेश द्वारा निर्मित विट्ठल का यह मनमोहक रूप है। अल्पेश ने अपनी कला के माध्यम से पंढरपुर की भावनाओं को वारी और वारकरियों के प्रति समर्पित किया है।
Report by : Rajesh Soni
Also read : टॉयलेट के लिए महिला की अनिश्चितकालीन