ताजा खबरें

एक करोड़ की रिश्वत…आखिरी बातचीत आपको अपनी मेहनत का फल मिल गया

171
एक करोड़ की रिश्वत...आखिरी बातचीत आपको अपनी मेहनत का फल मिल गया

Bribe: महाराष्ट्र का सबसे बड़ा रिश्वतखोरी का मामला सामने आया है. यह रिश्वत करीब एक करोड़ रुपये है. भ्रष्टाचार निरोधक विभाग के अपर महानिदेशक विश्वास नांगरे पाटिल ने शनिवार को इस मामले की जानकारी दी. यह कैसे हो गया? उन्होंने इस संबंध में विस्तार से जानकारी दी.

महाराष्ट्र का सबसे बड़ा रिश्वतखोरी का मामला सामने आया है. ये रिश्वत लाखों में नहीं बल्कि करोड़ों रुपये में है. रिश्वत लेने वाला अधिकारी सचिव नहीं बल्कि एक इंजीनियर ही था. उसने यह रिश्वत इसलिए मांगी है क्योंकि वह एक सरकारी ठेकेदार के तौर पर काम करता था. इस तरह की रिश्वतखोरी से हर कोई हैरान है. रिश्वत लेने वाले और रिश्वत देने वाले के बीच की बातचीत सामने आ गई है. इसमें कहा गया है, ‘आपको अपने परिश्रम का फल मिल गया है।’इस मामले में इंजीनियर के साथ एक और शख्स की अहम भूमिका होने की बात सामने आई है. भ्रष्टाचार निरोधक विभाग के अपर महानिदेशक विश्वास नांगरे पाटिल ने शनिवार को इस संबंध में जानकारी दी.

प्रदेश में भ्रष्टाचार विरोधी जागरूकता सतर्कता सप्ताह चल रहा है। इस बीच सबसे बड़ी कार्रवाई शुक्रवार देर रात अहमदनगर में हुई. नासिक में भ्रष्टाचार निरोधक विभाग के अधिकारियों ने सहायक अभियंता अमित गायकवाड़ को रुपये की रिश्वत मांगने पर गिरफ्तार किया। एसीबी पुलिस अधीक्षक शर्मिष्ठा वल्हावरकर की टीम ने यह कार्रवाई की.सरकारी ठेकेदार पर काम का 2 करोड़ 66 लाख बकाया था. अमित गायकवाड़ ने उस राशि के बिल को मंजूरी देने के लिए एक करोड़ रुपये की मांग की. पुलिस ने यह भी बताया कि दोनों के बीच आखिरी बातचीत इसी वक्त हुई थी. कहा गया है कि आपको अपनी मेहनत का फल मिल गया है.(Bribe)

एमआईडीसी के सहायक अभियंता अमित गायकवाड़ ने एक सरकारी ठेकेदार को 1000 मिमी व्यास वाली पाइपलाइन का काम सौंपा था। इस काम को करने के लिए 1 करोड़ रुपये के इनाम की मांग की गई थी. इन सभी मामलों में धुले के गणेश वाघ की भूमिका सामने आई है. विश्वास नांगरे पाटिल ने बताया कि उनकी तलाश के लिए एक टीम भेजी गई है. इस रिश्वत मामले में अमित गायकवाड़ के साथ गणेश वाघ को भी आरोपी बनाया गया है.

प्रदेश में इस समय भ्रष्टाचार विरोधी जागरूकता सतर्कता सप्ताह चल रहा है। वहीं, महाराष्ट्र में रिश्वतखोरी का सबसे बड़ा रूप सामने आया है. एसीबी ने साल भर में प्रदेश में 700 से ज्यादा ट्रैप कार्रवाई की है. राज्य में 140 कार्रवाई कर नासिक मंडल अव्वल रहा है. 1988 ने कानून बदल दिया. फिर 2018 में नया कानून आया. इसके बाद से गतिविधियां बढ़ गई हैं. एसीबी द्वारा कई अधिकारियों की संपत्ति की जांच की जा रही है.

Also Read: नेपाल में आए भीषण भूकंप में पुणे से गए 39 लोगों का क्या हुआ? क्या है बड़ा अपडेट ?

WhatsApp Group Join Now

Recent Posts

Advertisement

ब्रेकिंग न्यूज़

x