Chhagan Bhujbal : जब मराठा आंदोलन गरमाया हुआ था, तब ओबीसी नेता छगन भुजबल ने ओबीसी की एल्गार बैठक में मनोज जारांगे पाटिल के आंदोलन की कड़ी आलोचना की. इससे राज्य में ओबीसी और मराठा के बीच टकराव शुरू हो गया है. उसमें दोनों नेताओं ने एक-दूसरे का अलग-अलग जिक्र कर माहौल गर्मा दिया है. इसमें मनोज जारांगे पाटिल ने आरोप लगाया है कि Chhagan Bhujbal को बीजेपी से ऑफर मिला है. इस पर बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष चन्द्रशेखर बावनकुले ने भगवान की कसम खाकर खुलासा किया है कि न तो बीजेपी और न ही देवेन्द्र फड़णवीस ने भुजबल को कोई ऑफर दिया है.
बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष चन्द्रशेखर बावनकुले की मौजूदगी में आज नंदुरबार में कई कार्यक्रम आयोजित किये गये. उस समय उन्होंने कहा था कि ‘भुजबल को देवेन्द्र फड़णवीस या बीजेपी पार्टी की ओर से किसी भी तरह की पार्टी यात्रा का ऑफर नहीं दिया गया है. पार्टी प्रमुख के रूप में, ईश्वर गवाही देते हैं कि बड़ा सवाल यह है कि जब वह सत्तारूढ़ दल में हैं तो उन्हें भाजपा में क्यों शामिल होना चाहिए। बावनकुले ने बताया है कि बीजेपी पार्टी की ओर से भुजबल के साथ ऐसी कोई चर्चा नहीं हुई है और न ही भुजबल की ओर से ऐसा कोई प्रस्ताव आया है.
आरक्षण को लेकर जातियों-जातियों के बीच दरार पैदा करना ठीक नहीं है, अगर मराठों को अलग से आरक्षण मिलता है तो उन्हें 16 से 17 फीसदी आरक्षण का लाभ मिलेगा. ओबीसी से आरक्षण लेने का कितना फायदा होगा? 351 जातियों में आरक्षण का प्रतिशत कितना है यह एक अहम सवाल है. इसके लिए मराठा समुदाय के चालीस-पचास नेता एक साथ बैठे, उप मुख्यमंत्री देवेन्द्र फड़णवीस, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने सुझाव दिया है कि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे से चर्चा की जानी चाहिए और मराठों के लिए अधिक आरक्षण कैसे प्राप्त किया जाए।
आदित्य ठाकरे ने दावा किया है कि 31 दिसंबर को सरकार गिर जाएगी और नई सरकार महाविकास अघाड़ी की आएगी. प्रदेश अध्यक्ष बावनकुले ने कहा कि एकनाथ शिंदे 2024 तक मुख्यमंत्री बने रहेंगे. और उन्होंने साफ कर दिया है कि आने वाले समय में शिंदे फड़णवीस और अजित दादा के नेतृत्व में चुनाव होंगे और तब भी महागठबंधन की सरकार आएगी.