महाराष्ट्र (Maharashtra)में लगभग 10 दिनों तक पॉलिटिकल ड्रामा चला। वहीं अब राज्य में सत्ता परिवर्तन हो चुका है। शिवसेना के बागी नेता एकनाथ शिंदे ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के तौरपर कमान संभाल ली है। लेकिन महाराष्ट्र में अभी भी पूरे तरीके से सियासी संकट खत्म नहीं हुआ है। अब आप सोच रहे होंगे ऐसा क्यों? अब ऐसा क्या हो गया?
दरअसल, एकनाथ शिंदे के शपथ ग्रहण से पहले सबको लग रहा था कि देवेंद्र फडणवीस राज्य के मुख्यमंत्री बनेंगे। वहीं एकनाथ शिंदे राज्य के उपमुख्यमंत्री के तौरपर शपथ लेंगे। लेकिन हुआ बिल्कुल सबकी अपेक्षाओं से उलट। केंद्रीय नेतृत्व ने फड़णवीस को राज्य के उपमुख्यमंत्री के तौरपर कमान संभालने का आदेश दिया। इस आदेश को देवेंद्र फडणवीस ने मान भी लिया।
हालांकि अब ऐसी खबरें सामने आ रही है कि फड़णवीस के मुख्यमंत्री न बनने से भाजपा खेमे में नाराजगी है। और आने वाले दिनों में यह नाराजगी बगावत में बदल सकती है। ऐसे में आने वाले दिनों में शिंदे सरकार को भी भाजपा विधायकों की बगावत का सामना करना पड़ सकता है। क्योंकि भाजपा के कई विधायक फड़णवीस के मुख्यमंत्री न बनन से पार्टी हाई कमान से नाराज बताए जा रहे हैं।
वहीं अब भाजपा में नाराजगी दिखाई भी देने लगी है। कल भाजपा ने सरकार बनने का जश्न मनाया था। इस जीत के जश्न में देवेन्द्र फडणवीस शामिल नहीं हुए। इसके अलावा भाजपा के चाणक्य माने जाने वाले और देश के गृहमंत्री अमित शाह का मुम्बई से लेकर नागपुर तक लगे पोस्टर्स पर फ़ोटो नजर नहीं आया। ऐसा माना जा रहा है कि फड़णवीस के साथ अमित शाह ने ही यह खेल किया। इसी वजह से फड़णवीस गुट की साफ नाराजगी अमित शाह के प्रति देखी जा सकती है। और आनेवाले दिनों में यह परेशानी का सबब बन सकती है।
इसके अलावा शिंदे गुट में भी मंत्रिमंडल को लेकर खिंचतान देखी जा सकती है। निर्दलीय विधायक बच्चू कडू ने कैबिनेट मिनिस्टर की मांग की है। पिछले सरकार में
बच्चू कडू राज्य मंत्री थे। बच्चू कडू की प्रहार पार्टी के दो विधायक हैं। बच्चू कडू को एमवीए सरकार में शिवसेना के कोटे से मंत्री पद मिला था।
इसके अलावा मराठवाड़ा के शिवसेना विधायकों के बीच भी मंत्रीपद के लिए जोरदार स्पर्धा है। विधायक संदीपन भुमरे एमवीए सरकार में शिवसेना के कोटे से कैबिनेट मिनिस्टर थे। एक बार फिर उन्हें कैबिनेट मिनिस्टर मिलने की उम्मीद है।
वहीं अब्दुल सत्तार को भी फिर से राज्यमंत्री बनाया जा सकता है।
शिंदे गुट के एक और विधायक संजय सिरसाट ने भी मंत्री पद की मांग की है। ठाकरे सरकार में कैबिनेट मिनिस्टर उदय सामंत को फिर से कैबिनेट मिनिस्टर को पद दिया जा सकता है। इसके अलावा योगेश कदम को भी मंत्री पद मिलने की चर्चा है।
सोशल मीडिया पर शिंदे गुट के मंत्रियों की लिस्ट भी वायरल हो रही है। जिसमें तानाजी सावंत, गुलाबराव पाटिल, तानाजी सावंत, संदीपान भुमरे और संजय राठौड़, प्रताप सरनाईक, शंबुराजे देसाई, आशीष जैसवाल, उदय सामंत और अब्दुल सत्तार को कैबिनेट मिनिस्टर बनाया जा सकता है।
वहीं सोशल मीडिया पर राज्य मंत्रियों की वायरल लिस्ट में दीपक केसरकर, बच्चू कडू, भरत गोगावले और अनिल बाबर को राज्य मंत्री बनाया जा सकता है।
ऐसे में भाजपा विधायकों की नाराजगी और शिंदे गुट में मंत्री पद को लेकर खिंचतान बगावत को जन्म दे सकती है। ऐसी स्थिति में शिंदे सरकार पर भी अल्पमत में आने का खतरा मंडरा रहा है। अगर ऐसा हुआ तो फिर से उद्धव ठाकरे के पास मुख्यमंत्री पद पर लौटने का सुनहरा अवसर आ जाएगा।
Reported By :- Rajesh Soni
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