Siddhivinayak Mandir: किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत में हम बप्पा को प्रणाम करते हैं। सभी देवताओं से पहले उनकी पूजा की जाती है। संकष्ट चतुर्थी को गणराया के व्रतों में सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। 25 जून को अंगारकी संकष्टी चतुर्थी है। इस मौके पर विभिन्न गणेश मंदिरों में दर्शन के लिए भक्तों की कतार लगेगी. देश-विदेश से श्रद्धालु मुंबई में श्री सिद्धिविनायक के चरणों में शीश झुकाते हैं। इस मंदिर में भी अंगारक संकष्ट चतुर्थी के मौके पर तैयारियां चल रही हैं.
25 जून को सूर्योदय के बाद आधी रात 1.30 बजे से सिद्धिविनायक मंदिर में दर्शन शुरू होंगे. श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए मंदिर ट्रस्ट प्रशासन ने विशेष योजना बनाई है. दर्शन के लिए सामान्य कतार, महिलाओं की कतार, मुखदर्शन और आशीर्वाद पूजा की कतार होती है। साथ ही भक्तों के लिए मंडप, निःशुल्क जूता भण्डार, चिकित्सा सुविधा, निःशुल्क पानी एवं चाय की व्यवस्था की जायेगी। (Siddhivinayak Mandir)
दर्शन की व्यवस्था इस प्रकार है:
25 जून को दोपहर 1.30 बजे से 3.15 बजे तक.
प्रातः 3.50 बजे से दोपहर 12.00 बजे तक।
दोपहर 12.30 बजे से शाम 7.00 बजे तक.
शाम 7 बजे से रात 9 बजे तक दर्शन किये जा सकते हैं।
आरती इस प्रकार है:
काकड़ आरती एवं महापूजा : 25 जून दोपहर 12.10 बजे से 1.30 बजे तक.
आरती : प्रातः 3.15 बजे से 3.50 बजे तक।
नैवेद्य: दोपहर 12.00 बजे से 12.30 बजे तक।
धुपरती : शाम 7 बजे से 7 बजकर 10 मिनट तक।
महापूजा, नैवेद्य और आरती : रात्रि 9.00 बजे से 10.45 बजे तक।
चंद्रोदय का समय : रात्रि 10.28 बजे।