पायलटों के एक संगठन ने बोम्बे उच्च न्यायालय (Bombay high court) में याचिका दायर कर कोरोना (Corona) वायरस संक्रमण से जान गंवाने वाले पायलटों के लिए समुचित मुआवजा, टीकाकरण में प्राथमिकता और महामारी के दौरान कार्य करने वालों को बीमा कवरेज के लिए आदेश देने का अनुरोध किया है।
‘फेडरेशन ऑफ इंडियन पायलट’ द्वारा 7 जून को दाखिल याचिका में कहा गया कि महामारी के समय पायलटों ने जरूरी सेवाएं मुहैया करायी हैं। याचिका में कोविड-19 से जान गंवाने वाले पायलटों के परिवारों को 10 करोड़ मुआवजा देने का केंद्र को आदेश देने का अनुरोध किया गया है। फरवरी 2021 से जनहित याचिका के मुताबिक संक्रमण के कारण 13 पायलटों की मृत्यु हुई है।
मार्च 2020 से याचिका के मुताबिक विभिन्न विमान कंपनियों और पायलटों ने ‘वंदे भारत मिशन’ में भूमिका निभायी एवं दूसरे देशों में फंसे हुए नागरिकों को वतन लाने का काम किया है। महामारी की दूसरी लहर के समय चिकित्सकीय सामानों की आपूर्ति में भी पायलटों ने सेवा दी।
याचिका में कहा गया है की ‘‘महामारी के समय कई पायलट कोरोना वायरस से प्रभावित हुए एवं कईयों की जान चली गयी है। कोविड-19 के बाद म्यूकरमाइकोसिस जैसी और बीमारियों के कारण भी कई पायलट स्थायी तौर पर या अस्थायी तौर पर शारीरिक रूप से प्रभावित हुए है।’’ याचिका में दावा किया गया है कि कोविड-19 के कारण जान गंवाने वाले पायलटों को समुचित मुआवजे के लिए अभी तक कोई योजना पेश नहीं की गयी।
कुछ दिनों में इस याचिका पर निर्धारित प्रकिया के तहत सुनवाई की जाएगी।
Report by : Aarti Verma
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