Cheap onions : महाराष्ट्र में प्याज की कीमतों को लेकर एक बार फिर राजनीति तेज हो गई है। महायुति गठबंधन की सहयोगी पार्टी एनसीपी के दो विधायकों ने प्याज पर 20 प्रतिशत एक्सपोर्ट ड्यूटी को लेकर सवाल खड़े किए हैं। एनसीपी विधायक छगन भुजबल और दिलीप बांकर ने विधानसभा में कहा कि एक्सपोर्ट ड्यूटी के कारण प्याज की कीमतें गिर रही हैं, जिससे किसानों को नुकसान हो रहा है। एशिया की सबसे बड़ी प्याज मंडी लासलगांव के किसानों ने निर्यात शुल्क के विरोध में अपना कारोबार बंद कर दिया था। (Cheap onions)
राज्यमंत्री जयकुमार रावल ने किसानों की चिंता को जायज ठहराते हुए केंद्र सरकार से इस मुद्दे पर बातचीत का आश्वासन दिया है।
एक्सपर्ट्स का मानना है कि बिहार चुनाव तक केंद्र सरकार प्याज के रेट बढ़ाने का जोखिम नहीं उठाएगी, जिससे एक्सपोर्ट ड्यूटी में फिलहाल कमी की संभावना कम है। महाराष्ट्र देश का 40 प्रतिशत प्याज उत्पादन करता है। रमजान और ईद के दौरान मिडिल ईस्ट में प्याज की मांग बढ़ती है, जिससे किसान इस मौके को गंवाना नहीं चाहते।
महाराष्ट्र प्याज उत्पादक संघ के अध्यक्ष भरत दिघोले ने बताया कि मार्च में थोक भाव 2,300-2,400 रुपये प्रति क्विंटल था, जो अब घटकर 1,700 रुपये प्रति क्विंटल हो गया है। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि 20 प्रतिशत एक्सपोर्ट ड्यूटी नहीं हटाई गई तो किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ेगा। (Cheap onions)
भारत ने 2022-23 में 4,649.98 करोड़ रुपये मूल्य के 25.63 लाख टन प्याज का निर्यात किया। 2023-24 में यह घटकर 17.58 लाख टन रह गया, जिसकी कीमत 4,138.33 करोड़ रुपये आंकी गई। प्याज के मुद्दे को लेकर महाराष्ट्र की राजनीति में गर्माहट बनी हुई है, और आने वाले दिनों में इस पर सियासी हलचल और बढ़ने की संभावना है।
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