एक बार फिर अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल (Crude oil) की कीमतों में उछाल देखने मिल रहा है। पेट्रोलियम निर्यातक देशों के संगठन ओपेक)ल के कच्चे तेल का उत्पादन बढ़ाने के फैसले के बावजूद अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत 111 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गई है। ब्रेंट क्रूड 111 प्रति बैरल पर कारोबार कर रहा है। कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों ने भारत में ईंधन की कीमतों में बढ़ोतरी के संकेत दिए हैं।
इससे पहले मुख्य आर्थिक सलाहकारों ने कहा था कि अगर कच्चे तेल की कीमतें 110 डॉलर प्रति बैरल से नीचे रहती हैं, तो पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कोई वृद्धि नहीं होगी। अब जबकि कच्चे तेल की कीमतें 110 डॉलर प्रति बैरल से ऊपर हैं। ऐसे में उपभोक्ताओं, सरकार और सार्वजनिक तेल कंपनियों को इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा।
पहले से ही, ईंधन की बढ़ती कीमतें आम आदमी की जेब खाली कर रही हैं। पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद 22 मार्च से ईंधन के दाम बढ़ने लगे थे। 6 अप्रैल, 2022 तक पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कम से कम 10 रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी की गई है। पिछले एक महीने से पेट्रोल के दामों में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई है।
Reported By :- Rajesh Soni